एक ही रात में आकाश आनंद के हाथ से फिसला मायावती के उत्तराधिकारी का पद, तेवर बने कारण

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Akash Anand: बहुजन समाज पार्टी की प्रमुख और उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने अपने भतीजे आकाश आनंद को अपने उत्तराधिकारी और पार्टी के नेशनल कोऑर्डिनेटर की जिम्मेदारी से हटा दिया है. मायावती ने लोकसभा चुनाव के लिए तीसरे चरण की वोटिंग होने के बाद मंगलवार रात को यह फैसला लिया.

गौरतलब है कि मात्र 5 महीने पहले ही मायावती ने आकाश आनंद को ये दोनों बड़ी जिम्मेदारियां सौंपी थी और इस लोकसभा चुनाव में बड़े नेता के तौर पर लॉन्च किया था. ऐसे में अब अचानक से आनंद पर उनके इस एक्शन ने राजनीतिक गलियारों में चर्चा तेज कर दी है.

बसपा प्रमुख ने कही ये बात

हालांकि मायावती ने अपने इस फैसले की वजह बताते हुए कहा कि यह निर्णय पार्टी और मूवमेंट के हित में है. उन्होंने कहा कि आकाश में पूर्ण परिपक्वता आने तक इन दोनों अहम जिम्मेदारियों से अलग किया है. लेकिन अब भले ही बसपा प्रमुख कुछ भी कहें, उनके इस फैसले पर कई तरह के सवाल उठ रहे हैं.

क्या बनी मायावती के इस फैसले की वजह

एक तरफ मायावती के इस फैसले के पीछे की वजह आकाश आनंद (Akash Anand) के आक्रामक तेवरों को भी माना जा रहा है. बसपा प्रमुख हमेशा से विपक्षियों को लेकर एक सधी हुई भाषा में बात करती हैं और सिर्फ मुद्दों को लेकर ही हमला करती हैं. पर इस बार के चुनाव में आकाश आनंद ने कई ऐसे आक्रमक बयान दिए, जो काफी चर्चित रहे. आकाश के कई जोशिले अंदाज के बयान सोशल मीडिया पर वायरल हुए. यहां तक 28 अप्रैल को आकाश समेत चार अन्य लोगों के खिलाफ सितापुर में आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन का मामला भी दर्ज हुआ. आकाश पर चुनाव भाषण के दौरान भड़काऊ और हिंसा उकसाने वाले बयान देने का आरोप लगा.

नए-नए राजनीति में कदम रखने वाले आकाश के खिलाफ यह पहला आपराधिक मामला दर्ज किया गया है. ऐसे में माना जा रहा है कि उनके इन्हीं तेवरों की वजह से मायावती ने उनके खिलाफ ये एक्शन लिया है.


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